कामयाब कैसे बने ( how to be successful)

दोस्तों आज मैं आप लोगों को एक  सच्ची घटना पर आधारित सच्ची कहानी  सुनाता हूँ  दोस्तों एक लड़का था और उसकी हालत बहुत ख़राब थी  उसके पास  स्कूल में पढ़ने के लिए पैसे तक नहीं थे इसी लिए कहते है जिसके पास खोने के लिए कुछ नहीं उसको पाने के बहुत अवसर होते है एक लड़का था नाम था सोनू दोस्तों उसके कामयाबी की कहानी || 

दोस्तों सोनू की माली हालत ख़राब होने के कारण  वह  विद्यालय जाने के बाद जब वहां से वापस आता था तो बाजार में जाकर एक अपना ठेला लगाता था जिसमें वह सब्जी बेचा करता था और वहां पर जो भी चीजें उसको उपलब्ध होती थी वह बेचकर जो भी धन कमाता था वह अपने माता पिता को दे देता था यह घटना हरियाणा के एक छोटे से गांव की है लड़के का नाम सुमित है सुमित बेहद होनहार छात्र बचपन से ही छात्र था लेकिन पैसे की तंगी की वजह से उसने कक्षा 12वीं तक की पढ़ाई अपनी पूरी की थी उसके बाद उसने पढ़ाई छोड़ दी वह बाजार पर अपना ठेला लगाया करता था ठेला लगाने के साथ-साथ वह घर के काम में अपने माता पिता का हाथ बटाटा  था धीरे धीरे उसने अपनी कमाई से एक फोन खरीदा उसकी कमाई से और उसने धीरे-धीरे ऑनलाइन की दुनिया में  अपना काम शुरू किया धीरे धीरे उसको बहुत ज्यादा आनंद आने लगा उसने धीरे-धीरे ऑनलाइन की दुनिया से नए-नए चीजों को जानकारी इकट्ठा  करना शुरू कर दिया और उसने ऑनलाइन काम करना शुरू किया उसने अपना यूट्यूब चैनल खोला जिसकी पहली कमाई उसको 3 महीने के कठिन परिश्रम के बाद प्राप्त हुई जो की पहली कमाई थी उसकी $100 धीरे-धीरे वह ऑनलाइन काम करते-करते उसने कभी हार नहीं मानी कई बार उसे ऐसे मौके आए उसको लगा कि यह  काम उसको छोड़ देना चाहिए क्योंकि मेहनत ज्यादा थी और उसकी कमाई कम हो रहा थी  लेकिन उसने हार नहीं मानी और वह निरंतर प्रयास करता रहा मेहनत रंग लाई और  धीरे-धीरे  उसकी कमाई बढ़ने लगी और यूट्यूब से भी लेकिन अचानक देश के अंदर लॉक डाउन लग गया जिससे देश में आर्थिक मंदी का दौर शुरू हो गया और उसकी कमाई अचानक से कम होने लगी वह कुछ समय के लिए निराश हुआ लेकिन उसने अपना काम करना जारी रखा निरंतर प्रयास से उसने इंटरनेट में कुछ ऐसा कर दिया जिससे कि उसने एक ही महीने में उसने लगभग 25 लाख का धन अर्जन कर लिया और उसने धीरे-धीरे अपने ब्लॉग बनाए ब्लॉक से कमाई शुरू कर दी और दोस्तों आपको बता दें 4 साल की कठिन परिश्रम के बाद आज उस लड़के के पास वह सारी सुविधाएं उपलब्ध है जिसके बारे में लोग सोचा करते हैं कि काश हम भी धन अर्जन कर लेते नौकरी कर लेते तो यह कर लेते लेकिन उसने अपने कठिन परिश्रम से 4 वर्षों में अपनी गरीबी को भी मिटाया और अपने परिवार को भी संभाला और अपने आप को भी संभाला  इसीलिए
कामयाबी का जो एक ही मंत्र है  निरंतर अभ्यास निरंतर प्रयास ही कामयाबी का मूल मंत्र है तो दोस्तों कभी भी कोई भी काम करते करते अगर आपका मन बीच में हटने लगे तो आप उस काम को बीच में छोड़कर कभी न जाए और निरंतर कार्य करते रहें का निरंतर  जो कार्य किया जाता है उसमें कामयाबी मिलना तय होती है क्योंकि सफलता से पहले कठिन परिश्रम ही  सफलता मांगती है 



                 जहा चाह है  वहा राह है 

कामयाब बनने के लिए निरंतर प्रयास करते रहना चाहिए 

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